राज्यपाल से दूसरी चिट्ठी मिलने के बाद राजभवन पहुंचे कमलनाथ

 मध्य प्रदेश विधानसभा में फ्लोर टेस्ट पर अब राज्यपाल और सरकार आमने-सामने आ गए हैं। विधानसभा में बजट सत्र के पहले ही दिन राज्यपाल लालजी टंडन का भाषण था, लेकिन 36 पन्नों का अभिभाषण राज्यपाल ने एक पैरा पढ़कर ही खत्म कर दिया। इसके बाद स्पीकर एनपी प्रजापति ने 26 मार्च तक सदन स्थगित कर दिया, यानी जिस दिन राज्यसभा का चुनाव होना है। इसके कुछ ही घंटों बाद लालजी टंडन ने फ्लोर टेस्ट को लेकर कमलनाथ को पत्र लिखा और कहा कि बुधवार तक वे विश्वास मत हासिल कर लें। फ्लोर टेस्ट को लेकर कमलनाथ को यह राज्यपाल का दूसरा खत था। खत मिलने के बाद कमलनाथ राज्यपाल से मिलने राजभवन पहुंचे। मुलाकात के बाद कमलनाथ ने कहा- हम तैयार हैं, लेकिन संवैधानिक दायरे में रहकर और यह बात हमने राज्यपाल से कह दी है। भाजपा हमारे खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाई है, लेकिन आज भी हमारे पास संख्या बल है।


कमलनाथ ने आरोप लगाया कि भाजपा ने हमारे 16 विधायकों को बंधक बनाकर रखा है। इससे पहले, स्पीकर द्वारा विधानसभा की कार्यवाही रोकने के बाद ऐसा लगने लगा कि 26 मार्च से पहले फ्लोर टेस्ट के आसार बेहद कम हैं। हालांकि, राजनीतिक हलकों में गहमागहमी जारी थी। भाजपा के व्यवस्थापकों ने भी शाम 5 बजते-बजते अपने 100 से ज्यादा विधायकों को दोबारा हरियाणा के मानेसर भेजने के लिए होटल से एयरपोर्ट रवाना भी कर दिया था, लेकिन ठीक उसी वक्त फिर एक चिट्‌ठी आई। राजभवन से। राज्यपाल ने मुख्यमंत्री कमलनाथ को तीखे तेवरों वाला पत्र लिखकर 17 मार्च यानी कल ही फ्लोर टेस्ट का आदेश दे डाला।